उडाली पक्षिणी गेली अंतराळीं | Udali Pakshini Geli Antarali - संत नामदेव ▌♫▐

उडाली पक्षिणी गेली अंतराळीं । चित्त बाळाजवळी ठेवूनियां ॥१॥
तैसें माझें मन राहो कां ईश्वरीम । मग सुखें संसारीं असेना का ॥२॥
धेनु चरे वनीं वच्छ असे घरीं । चित्त वच्छावरी ठेवूनियां ॥3॥
विष्णुदास नामा विनवी परोपरी । हें प्रेम श्रीहरी द्यावें मज ॥4॥

Udali Pakshini Geli Antarali | Chhitta Bala Javali Thevuniya ॥१॥
Taise Maze Man Raho Ka Ishvatim | Mag Sukhe Sansari asenaa ka ॥2॥
Dhenu Chare Vani Vachhha Ase Ghari | Chitt Vachhavari Thevuniya ॥3॥
Vishnudaas Nama Vinavi Paropari | He Prem Shrihari Dyave Maj ॥4॥











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